Saturday , July 27 2024
ताज़ा खबर
होम / देश / लखनऊ व नोएडा में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू करने पर मंथन, दोनों जिलों में खाली हैं ‘कमांडर’ के पद

लखनऊ व नोएडा में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू करने पर मंथन, दोनों जिलों में खाली हैं ‘कमांडर’ के पद

आईपीएस अफसरों के तबादलों में खाली छोड़े गए लखनऊ और नोएडा में पायलट प्रोजेक्ट के तहत पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू किए जाने की तैयारी है।
गुरुवार को किए गए तबादलों में लखनऊ के एसएसपी कलानिधि नैथानी को गाजियाबाद का एसएसपी बना दिया गया है। वहीं, नोएडा के एसएसपी को निलंबित कर दिया गया है, लेकिन उनकी जगह किसी को तैनाती नहीं दी गई है।

सूत्रों का कहना है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ प्रदेश की राजधानी लखनऊ और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के नोएडा में पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू करने पर विचार कर रहे हैं।

बृहस्पतिवार को देर रात नौ बजे उन्होंने डीजीपी ओम प्रकाश सिंह और अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश अवस्थी के साथ मंथन किया। सूत्रों का कहना है कि मुख्यमंत्री इस व्यवस्था को लागू करने का मन बना चुके हैं। सबकुछ ठीक ठाक रहा तो जल्द इसका प्रस्ताव तैयार कर कैबिनेट में लाया जाएगा या फिर बाई सर्कुलर के जरिए इसे लागू किया जा सकता है।
दरअसल यूपी में आईपीएस एसोसिएशन द्वारा कमिश्नर प्रणाली लागू करने की मांग लंबे समय से चली आ रही है। बीते साल प्रदेश के पूर्व राज्यपाल राम नाईक ने भी कमिश्नर प्रणाली की पैरवी की थी।

पुलिस सप्ताह के दौरान न सिर्फ सार्वजनिक तौर पर उन्होंने इसकी मांग की थी, बल्कि पिछले वर्ष 5 जनवरी को मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर इस प्रणाली के फायदे भी गिनाए थे। इसके बाद आईपीएस एसोसिएशन ने एक प्रस्ताव भी तैयार किया था।

हालांकि बात नहीं बन पाई, इसलिए मुख्यमंत्री के यहां प्रस्ताव नहीं भेजा जा सका। अब दोबारा इसकी चर्चा शुरू हुई है। सूत्रों का कहना है कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी कमिश्नर प्रणाली लागू करने का मन बना लिया है। ऐसे में जल्द ही इस पर कोई निर्णय लिया जा सकता है।

पुलिस कमिश्नर प्रणाली से खत्म हो जाएगा प्रशासनिक अफसरों का दखल

पुलिस कमिश्नर प्रणाली लागू होने पर कानून-व्यवस्था से जुड़े मामलों में प्रशासनिक अधिकारियों का दखल खत्म हो जाएगा, क्योंकि पुलिस को ही मजिस्ट्रेट के अधिकार मिल जाएंगे। उसे मजिस्ट्रेट की तरह दंगे-फसाद के दौरान लाठीचार्ज, फायरिंग, गिरफ्तारी करने के आदेश देना, धारा 144 लागू करने का अधिकार मिल जाता है।

इसके अलावा स्थानीय स्तर पर होने वाले धरना-प्रदर्शन, जुलूस आदि की अनुमति भी कमिश्नर दे सकता है। फिलहाल ये सभी अधिकार जिला मजिस्ट्रेट के पास होते हैं। देश में दिल्ली, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक और गुजरात जैसे बड़े राज्यों के कई जिलों में यह प्रणाली लागू है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Enable Google Transliteration.(To type in English, press Ctrl+g)