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जन्मदिन पर विशेष / शालीन और संवेदनशील राजनेता कमलनाथ

(प्रलय श्रीवास्तव की कलम से) : मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ बेहद संजीदा, शालीन और संवेदनशील है। ऐसा नहीं कि कमलनाथ केवल अपने संसदीय एवं विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र छिंदवाड़ा के प्रति बल्कि सम्पूर्ण मध्यप्रदेश के लाड़ले राजनेता रहे है। छिंदवाड़ा की जनता से उन्हें जितना असीम प्यार, स्नेह और दुलार मिला, तो उतना ही उन्होंने लौटाया है। वास्तव में मध्यप्रदेश विशेषकर छिंदवाड़ा से उनका रिश्ता चार दशक पुराना है। आज जब छिंदवाड़ा को विकास का रोल मॉडल बनाने की चर्चा पूरे देश में है, ऐसे में उनका मध्यप्रदेश का मुख्यमंत्री बनना नि:संदेह राज्य के लिए गर्व और गौरव का विषय है।

राष्ट्रीय रजानीति में कमलनाथ का कद सदैव ऊँचा ही रहा। सबके प्रिय और विश्वासपात्र होना कोई उनसे सीखें। राष्ट्रीय क्षितिज के चमकते सितारे कमलनाथ ने विभिन्न पदों पर रहकर जनसेवा की लम्बी और चमकीली पारी खेली है। उनके सम्पर्कों का दायरा विशाल रहा है। “किंग मेकर” की भूमिका को कमलनाथ सही साबित करते आए हैं। वे समन्वय से कार्य करने वाले दूरदर्शी राजनेता है। सही मायने में वे एक ऐसे सक्षम और प्रभावशाली जनप्रतिनधि तथा मुख्यमंत्री हैं कि उनकी इस अभिनव कार्यशैली का प्रभाव उनके कृतित्व एवं व्यक्तित्व पर पड़ा है। कमलनाथ कर्त्तव्यों के निर्वहन में सदैव आगे रहे हैं।

अब तक के सार्वजनिक और संसदीय जीवन में उन्होंने सदैव लोकतांत्रिक मर्यादाओं का ध्यान रखा। वे करिश्माई व्यक्तित्व के धनी शुरू से ही रहे। केन्द्रीय संसदीय मंत्री के रूप में उनका कार्यकाल शानदार और समन्वयकारी रहा। उनका व्यक्तित्व और प्रभाव जितना बड़ा है, उसकी तुलना नहीं की जा सकती।

वे छिंदवाड़ा को विकास का केन्द्र मानकर अपने दायित्वों का निर्वहन करते आए हैं। छिंदवाड़ा और कमलनाथ वास्तव में एकाकार है, इसमें कोई संदेह नहीं रह गया है। छिंदवाड़ा को पिछले चार दशक में कमलनाथ से बहुत कुछ मिला। विकसित रेलवे स्टेशन, बेहतर सड़कें, कारखानें और नई कोयला खदानें इसकी मिसाल है। इतना ही नहीं राष्ट्रीय मंच पर छिंदवाड़ा को एक अलग पहचान भी उन्होंने दिलवाई। जब वे पहले पहल छिंदवाड़ा आए थे तो यहां के निवासियों के सहज और सरल स्वभाव से इतने अभिभूत हुए कि यहीं के होकर रहे गये। अब पूरा मध्यप्रदेश ही उनका परिवार बन चुका है। सबकी चिंता और विकास उनका मुख्य ध्येय है ।

मध्यप्रदेश के विकास को लेकर उनके मन में सदैव पीड़ा रही है। उनके सांसद रहने के दौरान नई दिल्ली पहुँचने वाले प्रदेशवासी अथवा अपने मतदाता को उन्होंने कभी खाली हाथ नहीं लौटाया। वे आश्वासन देने वाले नहीं बल्कि वायदों को पूरा करने वाले राजनेता हैं। मार्च 2013 का एक किस्सा है, जब अटपटे बोल को लेकर चर्चित हुए एक केन्द्रीय मंत्री को उन्होंने मीडिया के सामने लाकर माफी मंगवाई थी, यही उनकी सजगता और सतर्कता रही है। करिश्माई व्यक्तित्व के कारण वे केन्द्र में सदैव मध्यप्रदेश के ताकतवर नुमाइंदे साबित हुए है। मध्यप्रदेश की जनता में उनके प्रति जो जन-विश्वास जागृत हुआ है, उसे पूरा करने की जिम्मेदारी अब उनके मजबूत कंधों पर है।

कमलनाथ में कुशल रणनीतिकार के सभी गुण मौजूद है। क्षमताओं और प्रतिभा से भरपूर उनका व्यक्तित्व रहा है। प्रदेशवासियों का भरोसामंद साबित होने के लिए उन्हें अनेक चुनौतियों का सामना करना भी पड़ सकता है। लेकिन सच तो यह है कि जनसेवा के अपने उद्देश्य का पूरा करने में वे कभी पीछे नहीं रहने वाले।

कमलनाथ सबको साथ लेकर चलने में विश्वास करते हैं। अपना लक्ष्य पूरा करने में वे साधनों की कमी की परवाह नहीं करते। संभावनाओं को पूरा करने वाला व्यक्तित्व उनके रक्त प्रवाह में मौजूद है। मुख्यमंत्री के अब तक के लगभग 11 माह के कार्यकाल में किसानों, गरीबों, आदिवासियों, महिलाओं, और युवाओं के हित में लिए गए उनके फैसलों ने मध्यप्रदेश को एक नई पहचान दी है । वचन पत्र को पूरा करने का उनका संकल्प अब मूर्तरूप ले चुका है। कमल नाथ के कुशल नेतृत्व में आज मध्यप्रदेश हर क्षेत्र में निरंतर प्रगति की ओर अग्रसर है ।

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