भोपाल
मध्य प्रदेश में साल की शुरुआत के साथ शुरू हुआ वंदे मातरम पर विवाद जारी है। अब पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने भोपाल स्थित मंत्रालय पार्क में बीजेपी के विधायकों के साथ सामूहिक राष्ट्रगीत गाया। इस दौरान बीजेपी के नेताओं ने वंदे मातरम का टेप चलाकर वंदे मातरम का गान किया। इस दौरान बैकग्राउंड में लता मंगेशकर द्वारा गाए गए वंदे मातरम की रिकॉर्डिंग चल रही थी और बीजेपी नेता साथ में गायन कर रहे थे।
इस मौके पर शिवराज ने कहा, आज हमने वंदे मातरम का निर्णय इसलिए किया था कि हमारी बीजेपी सरकार ने इसके गायन की शुरुआत की थी, लेकिन नई सरकार ने परंपरा को तोड़ा था, इसलिए हमें आज यहां वंदे मातरम गायन करने का निर्णय किया था।
उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस की सरकार ने वंदे मातरम पहले बंद किया, लेकिन विरोध हुआ और उस पर हमारे मध्य प्रदेश के नागरिकों का दबाव पड़ा, तो इसे नए स्वरूप में लागू करने की बात कही है। वंदे मातरम का कोई नया पुराना स्वरूप नहीं होता। वंदे मातरम सिर्फ वंदे मातरम है।
साल के पहले दिन नहीं गूंजा था वंदे मातरम
वंदे मातरम का गान करने के बाद शिवराज ने कहा, ‘पहले हमने तय किया था वंदे मातरम गायन के बाद हम विधानसभा तक मार्च करते हुए जाएंगे, लेकिन अब कांग्रेस सरकार ने इसे बाधित करने की अपनी मंशा वापस ले ली है, तो हमने मार्च का फैसला निरस्त कर दिया है।’
कमलनाथ ने दिया वंदे मातरम को नया स्वरूप
इसी के बाद से विपक्षी दल बीजेपी कांग्रेस पर हमलावर हो गई थी। तब प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ऐलान किया है कि उनकी पार्टी (बीजेपी) के सभी 109 विधायक 7 जनवरी को सचिवालय में वंदे मातरम गाएंगे।
हालांकि बाद में मध्य प्रदेश ने अपना फैसला वापस लेते हुए वंदे मातरम को नया रूप देने का ऐलान किया था। इसके अनुसार, अब हर महीने सचिवालय के पहले कार्यदिवस पर पुलिस बैंड की धुन पर वंदे मातरम गाया जाएगा जिसमें आम जनता भी शामिल हो सकेगी।