मुंबई 
मुंबई के पवई में बंधक संकट के दौरान एक बुजुर्ग महिला ने अहम भूमिका निभाई। वह अपनी पोती के साथ ऑडिशन के लिए आई थी, जहां 50 वर्षीय रोहित आर्य नाम के शख्स ने 17 बच्चों को बंधक बना लिया था। पुलिस और दमकल विभाग बाहर बच्चों को सुरक्षित निकालने की तैयारी में जुटे थे। अंदर मंगला पाटणकर कैद बच्चों की रक्षा में लगी हुई थीं। उन्हें कांच के टुकड़ों से सिर पर चोट लगी है और वे फिलहाल अस्पताल में इलाज करा रही हैं।
 
अस्पताल के बिस्तर से मंगला पाटणकर ने बंधक संकट की कहानी सुनाई। उन्होंने बताया कि रोहित आर्य ने कुछ बच्चों को उनके पास छोड़ा और बाकी को ऊपर ले गया। कुछ देर बाद वह फिर नीचे आया और मुझे भी बाकी बच्चों के साथ ऊपर आने को कहा। ऊपर पहुंचने पर उन्होंने देखा कि बच्चों को कुछ सिखाया नहीं जा रहा था। वहां खिड़कियों पर काले पर्दे लगे थे। लगता था कि उसने पहले से योजना बनाई थी। उसने 4 बच्चों से उनके माता-पिता को फोन करवाया और प्रत्येक से 1 करोड़ रुपये की फिरौती मांगी। आर्य लगातार कहता रहा कि उसे अभी 4 करोड़ रुपये चाहिए और उसने बंधकों को धमकी दी कि इमारत में बम रखा है।
बच्चों के घरवालों ने किए फोन
मंगला पाटनकर ने कहा कि आर्य पूरे समय स्वीट व्यवहार कर रहा था, लेकिन काफी ड्रामा भी कर रहा था। उसने दिवाली के पटाखे फोड़े और हमें बताया कि बाहर गोलीबारी हो रही है ताकि हम बाहर न निकलें। पाटणकर ने कहा, 'मुझे फोन आया कि बाहर बंधक संकट की खबर है तो मैंने बताया कि बच्चे मेरे साथ सुरक्षित बैठे हैं।' उन्होंने संदेह जताया कि संस्थान की एक अन्य कर्मचारी भी इस प्लान में शामिल थी क्योंकि वह डरी हुई नहीं लग रही थी। पाटनकर ने बच्चों, खासकर लड़कियों की सुरक्षा सुनिश्चित की और बाहर इंतजार कर रहे चिंतित माता-पिता को उनके बच्चों की तस्वीरें भेजीं।
2 करोड़ रुपये बकाए का दावा
रोहित आर्य ने वेब सीरीज के ऑडिशन के बहाने 17 बच्चों को बंधक बनाया था। कुछ समय बाद उसने एक वीडियो पोस्ट किया और कहा कि महाराष्ट्र शिक्षा विभाग में उसका 2 करोड़ रुपये बकाया है। 3.5 घंटे चले इस बंधक संकट का नाटकीय अंत हुआ, जब पुलिस ने पाइप से चढ़कर बच्चों को बचाया। एक अन्य पुलिसकर्मी बाथरूम की खिड़की से स्टूडियो में घुसा। इस दौरान एक बच्चे को नुकसान पहुंचाने की कोशिश कर रहे आर्य को गोली मारकर गिरा दिया गया और उसने दम तोड़ दिया।
 Dainik Aam Sabha
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