भोपाल
प्रदेश सरकार द्वारा विधवा महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए मुख्यमंत्री कल्याणी विवाह सहायता योजना का प्रारंभ किया गया है। जिला सामाजिक न्याय एवं दिव्यांगजन सशक्तिकरण उपसंचालक ने बताया कि मप्र सरकार द्वारा चलाई जा रही इस योजना का उद्देश्य विधवा महिलाओं को आर्थिक सहायता प्रदान करना है। इस योजना के तहत, विधवा महिलाओं को उनके विवाह पर 2 लाख रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। यह योजना मध्य प्रदेश की विधवा महिलाओं के लिए एक महत्वपूर्ण आर्थिक सहायता प्रदान करती है। इस योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए कल्याणी और उसके पति दोनों मध्य प्रदेश के मूल निवासी होने अनिवार्य है। कल्याणी की आयु 18 वर्ष या अधिक और उसके पति की आयु 21 वर्ष से अधिक होनी चाहिए। कल्याणी और उसके पति दोनों शासकीय विभाग में कर्मचारी/अधिकारी नहीं होने चाहिए और आयकर दाता भी नहीं होने चाहिए, कल्याणी को पहले से कोई परिवार पेंशन नहीं मिलनी चाहिए।
ऑपरेशन सिंदूर के बाद मोहन सरकार मध्य प्रदेश में विधवाओं की मांग में भी सिंदूर भरवाने के लिए उनके विवाह करवाएगी और 2 लाख की राशि भी देगी.सीएम मोहन यादव ने बताया कि विधवा बहनों के लिए कल्याणी योजना शुरू की गई है. इस योजना के तहत अगर कोई विधवा बहन विवाह करके जीवन को बेहतर बनाना चाहती है तो उसे 2 लाख रुपये की आर्थिक मदद की जाएगी.
महिलाओं को दो लाख रुपए देगी सरकार
सीएम मोहन यादव ने मंच से कहा कि, ''बहनों की जिंदगी में अगर किसी कारण से सुहाग चला गया, अगर बहन विधवा हो गई तो उसका पुनर्विवाह करना चाहिए.'' उन्होंने कहा, ''मध्य प्रदेश शासन ऐसी विधवा बहनों के पुनर्विवाह के लिए कल्याणी योजना चला रही है. 3 मई 2018 से शुरु हुई कल्याणी योजना के अंतर्गत विवाह होने पर प्रोत्साहन राशि स्वरूप उन्हें दो लाख रुपए की राशि प्रदान की जाएगी.''
क्या है कल्याणी विवाह योजना और शर्तें
मुख्यमंत्री कल्याणी विवाह योजना की शुरुआत 3 मई 2018 से हुई है. जिसमें विधवा महिलाओं का पुनर्विवाह करवाया जाता है.इस योजना के तहत सरकार महिला को शादी के लिए 2 लाख रुपए देती है.ताकि परिवार का आर्थिक बोझ कम हो सके और महिलाएं अपनी जिंदगी की नई शुरुआत कर सकें. हालांकि कल्याणी विवाह योजना की कई शर्तें. जैसे कल्याणी योजना के तहत महिला और जिससे शादी कर रही वह मध्य प्रदेश का मूल निवासी हो. महिला की न्यूनतम आयु 18 वर्ष या अधिक हो व कल्याणी के पति की आयु 21 वर्ष या अधिक हो.महिला सरकारी नौकरी में न हो. महिला का जिस व्यक्ति से विवाह हो रहा है, उस व्यक्ति की पूर्व से कोई जीवित पत्नी न हो.शादी होने की तिथि से एक वर्ष के अंदर आवेदन करने पर ही मुख्यमंत्री कल्याणी विवाह सहायता योजना का लाभ दिया जाएगा.
सीएम मोहन यादव ने बताया कि विधवा बहनों के लिए कल्याणी योजना शुरू की गई है. इस योजना के तहत अगर कोई विधवा बहन विवाह करके जीवन को बेहतर बनाना चाहती है तो उसे 2 लाख रुपये की आर्थिक मदद की जाएगी.
कल्याणी विवाह योजना में कैसे करे आवेदन
प्रदेश में मुख्यमंत्री कल्याणी विवाह सहायता योजना के आवेदन प्रक्रिया को ऑनलाइन कर आसान बना दिया गया है। कल्याणी महिला (विधवा महिला) सामाजिक न्याय दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग के विवाह पोर्टल https://vivahportal.mp.gov.in पर ऑनलाइन आवेदन कर सकती है। मंत्री श्री कुशवाह ने सभी जिलाधिकारियों को प्राप्त आवेदन पत्रों का 30 दिवस में अनिवार्य रूप से निराकरण के निर्देश दिए है।
प्रमुख सचिव सामाजिक न्याय एवं दिव्यांगजन कल्याण सशक्तिकरण श्रीमती सोनाली वायंगणकर ने बताया कि प्रदेश में निवासरत कल्याणी बहनों को समाज की मुख्य धारा से जोड़ने के उद्देश्य से वर्ष 2018 से मुख्यमंत्री कल्याणी विवाह सहायता योजना संचालित की जा रही है। योजना में कल्याणी बहनों को विवाह उपरांत 2 लाख की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। विभाग द्वारा योजनांतर्गत आवेदन प्रक्रिया को आसान बनाया गया है। इच्छुक हितग्राही https://vivahportal.mp.gov.in पर पब्लिक डोमेन से ऑनलाइन आवेदन कर सकते है। उन्होंने बताया कि विवाह पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन के लिये समग्र पोर्टल पर जानकारी अपडेट होना आवश्यक है। आवेदिका एवं उसके पति का आधार ई-केवायसी समग्र पोर्टल पर होना अनिवार्य है, समग्र पोर्टल पर वैवाहिक स्थिति विवाहित होना अनिवार्य है, 8 अंको की समग्र परिवार आईडी एक ही होना अनिवार्य है।
सभी जिला अधिकारी ऑनलाइन प्राप्त आवेदन पत्रों का परीक्षण कर 30 दिवस में अनिवार्य रूप से निराकरण करेंगे। अनावश्यक रूप से आवेदन लंबित रखने पर संबंधित अधिकारी के विरूद्ध कार्रवाई की जा सकती है।
प्रमुख सचिव श्रीमती वायंगणकर ने स्पष्ट किया कि जिला कार्यालय में सीधे आवेदन (ऑफलाइन) लेने ने मना नहीं किया जायेगा। जिला कार्यालय स्वयं पोर्टल पर लॉगइन कर आवेदन को ऑनलाइन प्रक्रिया में शामिल कर कार्रवाई सुनिश्चित करेंगे।