आम सभा, भोपाल। म.प्र.पटवारी संघ भोपाल के प्रांताध्यक्ष उपेन्द्रसिंह बाघेल एवं महामंत्री धर्मेन्द्र शर्मा द्वारा एक संयुक्त विज्ञप्ति मे बताया कि, मध्यप्रदेश के समस्त मान्यता प्राप्त अधिकारी एवं कर्मचारी संगठनों ने एक संयुक्त मोर्चे के माध्यम से प्रदेश के समस्त शासकीय कर्मचारियों की उचित मांगो के निराकरण हेतु शासन को दिनांक 31/07/2020 को भोपाल एवं समस्त जिलो मे ज्ञापन सौपकर उनकी मांगो का निराकरण ना होने की स्थिति मे दिनांक 24/08/2020 से आंदोलन पर जाने का आगाज कर दिया है।
जिनमें निम्न चार सूत्रीय मांगे है।
1- जुलाई 2020 की रोकी गई वेतन वृद्धि तत्काल लागू कर आर्थिक लाभ दिया जाए।
2- वर्ष 2016 से अधिकारियों एवं कर्मचारियों की पदोन्नतियों पर रोक लगी है। जिसके कारण अधिकांश अधिकारी एवं कर्मचारी पदोन्नती प्राप्त किये बगैर सेवानिवृत हो रहे है। इस संबंध मे मोर्चे का सुझाव है कि, जो अधिकारी व कर्मचारी जिस पद के समतुल्य वेतन एवं ग्रेड पे प्राप्त कर रहे हों। उन्हें उसके समकक्ष पदों के नाम से नामित कर दिया जाए। ऐसा करने से शासन को कोई वित्तीय भार नही पड़ेगा।
3-शासन द्वारा राज्य के अधिकारियों एवं कर्मचारियों को मंहगाई भत्ता दिये जाने के संबंध में आदेश जारी किये थे। किन्तु कोरोना महामारी के कारण मंहगाई भत्ते के आदेश को स्थगित कर दिया गया था। कृपया उक्त आदेश को वापस लेते हुए महंगाई भत्ता 5 प्रतिशत भुगतान करने के आदेश प्रसारित किए जाएं।
4- इसी प्रकार सातवे वेतनमान के एरियर की राशि जो तीन वित्तीय वर्षों मैं भुगतान किया जाना था। दो किस्तो के भुगतान किए जाने के उपरांत तीसरी किस्त जिसका भुगतान माह मई-2020 में किया जाना था। जिसपर रोक लगा दिए जाने से एरियर के तीसरी किस्त का भुगतान नही हो सका है। कृपया लगाई गई रोक हटाई जा कर किस्तों का भुगतान कराया जावे एवं सेवानिवृति आयु को 62 वर्ष यथावत रखा जावे।
उक्त मांगो के समर्थन में अधिकारी कर्मचारी संयुक्त मोर्चे मे म.प्र. पटवारी संघ प्रांताध्यक्ष एवं जिला इकाई भी शामिल है। इसलिए उक्त मांगों के निराकरण ना होने की स्थिति मे दिनांक 24.08.2020 को संयुक्त मोर्चे के साथ पटवारी संघ भी आंदोलन मे जाने हेतु बाध्य होगा।